बिना सीने में दर्द के हार्ट अटैक कैसे पहचानें? जानें जरूरी संकेत और बचाव
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बिना सीने में दर्द के हार्ट अटैक कैसे पहचानें? जानें जरूरी संकेत और बचाव

Summary

दिल का दौरा हमेशा सीने में दर्द के साथ नहीं आता। बिना दर्द के भी हार्ट अटैक के लक्षण जैसे सांस फूलना, थकान, मतली, और ठंडा पसीना आना हो सकते हैं। साइलेंट हार्ट अटैक में लक्षण हल्के होते हैं और यह विशेष रूप से डायबिटीज और उच्च रक्तचाप वाले लोगों में आम है। समय पर जांच से इसका पता लगाना संभव है, जिससे जोखिम कम किया जा सकता है।

दिल का दौरा कोई सामान्य स्थिति नहीं है। इसे मेडिकल भाषा में मायोकार्डियल इंफार्क्शन कहा जाता है, जो कि एक जानलेवा स्थिति है। यह स्थिति तब उत्पन्न होती है, जब हृदय के किसी एक भाग तक रक्त प्रवाह में बाधा उत्पन्न होती है। 

हम सभी जानते हैं कि सीने में दर्द दिल में दौरा का एक मुख्य लक्षण है। लेकिन आपको यह समझना होगा कि यह समस्या बिना सीने में दर्द के साथ भी उत्पन्न हो सकती है। मैं हृदय रोगों का इलाज कई वर्षों से कर रहा हूं और अपने अनुभव से यह कह सकता हूं कि साइलेंट हार्ट अटैक सामान्य हार्ट अटैक से अधिक खतरनाक है क्योंकि इस स्थिति में कोई भी लक्षण उत्पन्न नहीं होते हैं। इसलिए सीने में दर्द के साथ अन्य लक्षणों के बारे में जानकारी इकट्ठा करना बहुत आवश्यक है। हृदय से संबंधित किसी भी समस्या के इलाज के लिए अभी परामर्श लें।

दिल के दौरे के अनदेखे लक्षण: शरीर क्या संकेत देता है?

दिल का दौरा हमेशा सीने में दर्द के साथ नहीं आता है। वास्तव में कई लोगों को साइलेंट हार्ट अटैक का अनुभव होता है, और यह उन लोगों में अधिक आम है, जिन्हें डायबिटीज, ब्लड प्रेशर या हृदय संबंधी समस्याओं की फैमिली हिस्ट्री रही हो। ऐसे में इस स्थिति का पहले से पता लगाना बहुत मुश्किल होते है और यह सारे मामले अधिक खतरनाक भी होते हैं। बिना सीने में दर्द के निम्न लक्षण हार्ट अटैक की स्थिति की तरफ संकेत करते हैं - 

  • सांस फूलना: साधारण काम करते समय भी अचानक या बिना किसी कारण से सांस फूल जाना। यह इस बात का संकेत हो सकता है कि आपका दिल ठीक से रक्त पंप नहीं कर रहा है।
  • थकान और कमजोरी: आराम करने के बाद भी असामान्य रूप से थकान या कमजोरी महसूस होना, इस बात का शुरुआती संकेत है कि आपके दिल को अपना काम करने में अधिक मेहनत करनी पड़ रही है। यह महिलाओं में विशेष रूप से ध्यान देने योग्य स्थिति है। 
  • मतली और चक्कर आना: कुछ लोगों को खासकर महिलाओं को दिल के दौरे से पहले या उसके दौरान मतली या चक्कर आ सकता है। कई बार इस लक्षण को अक्सर अपच के साथ जोड़कर देखा जाता है। 
  • शरीर के अन्य क्षेत्रों में दर्द: पीठ, जबड़े, कंधे, बाह, गर्दन या पेट में दर्द होना भी हार्ट अटैक के लक्षण है। सीने में दर्द आम है, लेकिन इसके साथ-साथ इन क्षेत्रों में दर्द को कभी भी नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।
  • ठंडा पसीना आना: शारीरिक परिश्रम के बिना भी ठंडा पसीना आना एक ऐसा लक्षण है, जिसे अक्सर अनदेखा कर दिया जाता है। यह शरीर के तनाव के प्रति प्रतिक्रिया का संकेत हो सकता है, जो दिल के दौरे का संकेत दे सकता है।
  • साइलेंट हार्ट अटैक के लक्षण: साइलेंट हार्ट अटैक तब आता है, जब कोई स्पष्ट लक्षण नहीं होते या जब लक्षण हल्के होते हैं और किसी का ध्यान नहीं जाता है। साइलेंट हार्ट अटैक से पीड़ित व्यक्ति को तब तक पता भी नहीं चलता कि उसे यह हुआ है जब तक कि ECG जैसे नियमित परीक्षणों के दौरान इसका पता न चल जाए। साइलेंट हार्ट अटैक डायबिटीज और उच्च रक्तचाप वाले लोगों में अधिक आम है।

हार्ट अटैक से बचने के लिए जीवनशैली और आहार संबंधी सुझाव

इस बात में कोई संशय नहीं है कि रोकथाम हमेशा इलाज से बेहतर है। यदि आप दिल के स्वास्थ्य के बारे में चिंतित है तो जीवनशैली और आहार की मदद से जोखिम कारकों को आसानी से कम कर सकते हैं। चलिए उन सभी उपायों के बारे में जानते हैं और उन्हें समझते हैं - 

  • दिल के लिए स्वस्थ आहार लें: फल, सब्जियां, होल ग्रेन्स और लीन प्रोटीन से भरपूर आहार पर ध्यान दें। चीनी, नमक और अस्वस्थ फैट से भरपूर प्रोसेस्ड फूड के सेवन से बचें। ओमेगा 3 से भरपूर भोजन (सैल्मन और अलसी) को अपने आहार में शामिल करें। 
  • स्वस्थ वजन बनाए रखें: अधिक वजन होने से दिल को अपना सामान्य काम करने में अतिरिक्त मेहनत करना पड़ता है। नियमित व्यायाम और संतुलित आहार आपके वजन को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है, जिससे दिल के दौरे का खतरा भी कम हो जाता है।
  • नियमित रूप से व्यायाम करें: शारीरिक गतिविधि आपके दिल की सुरक्षा के लिए सबसे उत्तम विकल्प है। यह ब्लड प्रेशर को कम करने, रक्त संचार में सुधार करने और वजन को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। सप्ताह के अधिकांश दिनों (कम से कम 5 दिन) में 30 मिनट मध्यम गति वाले व्यायाम करने का लक्ष्य रखें। 
  • धूम्रपान छोड़ें: धूम्रपान रक्त वाहिकाओं को नुकसान पहुंचाते हैं और रक्त में ऑक्सीजन के स्तर को कम करते हैं। धूम्रपान छोड़ने से हृदय रोग और अन्य गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का जोखिम काफी हद तक कम हो सकता है।
  • रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करें: रक्तचाप और कोलेस्ट्रॉल के स्तर की नियमित निगरानी महत्वपूर्ण है। यदि आपका स्तर अधिक है, तो दवाओं और जीवनशैली में बदलाव के माध्यम से उन्हें नियंत्रित करने के लिए अपने स्वास्थ्य सेवा प्रदाता के साथ काम करें।
  • तनाव कम करें: क्रोनिक तनाव हृदय रोग में योगदान दे सकता है। माइंडफुलनेस, योग, ध्यान और गहरी सांस लेने जैसी तकनीक तनाव के स्तर को प्रबंधित करने में मदद कर सकती हैं।

निष्कर्ष

दिल के दौरे के साथ हमेशा छाती में दर्द नहीं होता है, जिसकी ज्यादातर लोग उम्मीद करते हैं। हृदय संबंधी बीमारियों के इलाज में वर्षों के अनुभव वाले एक डॉक्टर के तौर पर, मैं सभी से आग्रह करता हूं कि वह कम स्पष्ट लक्षणों, खास तौर पर साइलेंट हार्ट अटैक के बारे में जागरूक रहें, जिसे अक्सर अनदेखा कर दिया जाता है। 

लक्षणों को पहचानने के अलावा, हृदय रोग के जोखिम को कम करने के लिए उचित आहार, नियमित व्यायाम और तनाव प्रबंधन के साथ हृदय-स्वस्थ जीवनशैली बनाए रखना जरूरी है। यदि आप लक्षणों को पहचान गए हैं, तो बिना देर किए परामर्श लें और इलाज लें।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

क्या बिना किसी लक्षण के दिल का दौरा पड़ सकता है?

हां, दिल का दौरा बिना किसी लक्षण के भी पड़ सकता है, जिसे अक्सर "साइलेंट" हार्ट अटैक के नाम से भी जाना जाता जाता है। कई बार हार्ट अटैक की स्थिति किसी और स्वास्थ्य समस्या के निदान के बाद ही उत्पन्न होती है।

क्या डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर वाले रोगियों में साइलेंट हार्ट अटैक का जोखिम कारक है?

मधुमेह और उच्च रक्तचाप साइलेंट हार्ट अटैक के लिए महत्वपूर्ण जोखिम कारक हैं। यह स्थितियां हृदय की कार्यक्षमता को काफी हद तक नुकसान पहुंचा सकती हैं, जिससे हृदय रोग की समस्या ट्रिगर हो सकती है।

क्या सांस फूलना और थकान हार्ट अटैक के लक्षण हो सकते हैं?

हां, सांस फूलना और अत्यधिक थकान इस स्थिति के आम लक्षण हैं, खासकर साइलेंट हार्ट अटैक के मामले में यह लक्षण महत्वपूर्ण है। यदि आपको अन्य लक्षणों के साथ-साथ यह भी महसूस होते हैं, तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लें।

क्या ECG से साइलेंट हार्ट अटैक का पता लगाया जा सकता है?

हां, ECG (इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम) साइलेंट हार्ट अटैक का पता लगा सकता है। अक्सर, यह घटनाएं स्पष्ट लक्षणों के बजाय नियमित जांच के दौरान पता चलती हैं।

महिलाओं में हार्ट अटैक के अदृश्य लक्षण क्या है?

महिलाओं को हार्ट अटैक के अधिक लक्षण हो सकते हैं, जैसे कि मतली, चक्कर आना, थकान, सांस फूलना और गर्दन, जबड़े या पीठ में बेचैनी, जिन्हें अक्सर हार्ट अटैक के लक्षण के रूप में पहचाना नहीं जाता है।

Written and Verified by:

Dr. Ashok B Malpani

Dr. Ashok B Malpani

Senior Consultant Exp: 34 Yr

Cardiology

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