लो बीपी (लो ब्लड प्रेशर) : लक्षण, कारण और उपचार
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लो बीपी (लो ब्लड प्रेशर) : लक्षण, कारण और उपचार

Cardiology | by Dr. Rakesh Sarkar on 23/05/2024

Summary

लो ब्लड प्रेशर (निम्न रक्तचाप) एक ऐसी स्थिति है जिसमें शरीर की धमनियों में रक्त का दबाव सामान्य से कम हो जाता है, जिससे चक्कर आना, थकान और धुंधलापन जैसे लक्षण हो सकते हैं। यह स्थिति डिहाइड्रेशन, हार्ट प्रॉब्लम्स या दवाओं के कारण हो सकती है, और समय पर निदान व जीवनशैली में सुधार से इसे नियंत्रित किया जा सकता है।

लो ब्लड प्रेशर या निम्न रक्तचाप एक स्वास्थ्य स्थिति है, जिसमें शरीर में रक्त प्रवाह द्वारा धमनियों पर डाले जाने वाला दबाव कम हो जाता है। आमतौर पर लो ब्लड प्रेशर के कोई खास लक्षण नहीं होते हैं। कई बार अचानक से बीपी लो होने के कारण चक्कर आने, सिर घूमने और हाथ-पैर में कंपन जैसे लक्षण महसूस हो सकते हैं। 

लगभग सभी लोग इस स्थिति से अवगत होते हैं, लेकिन उन्हें लो बीपी के बारे में पूर्ण जानकारी नहीं होती है, जिसके कारण वह इस स्थिति का सही से प्रबंधन नहीं कर पाते हैं। चलिए लो बीपी के लक्षण, कारण और उपचार के बारे में विस्तार से जानते हैं। लो बीपी की समस्या को आसानी से मैनेज किया जा सकता है, जिसके लिए हम भी आपको एक अनुभवी एवं श्रेष्ठ हृदय रोग विशेषज्ञ से मिलने की सलाह देंगे।

लो ब्लड प्रेशर क्या है?

लो ब्लड प्रेशर या निम्न रक्तचाप एक स्वाभाविक स्वास्थ्य स्थिति है, जिसमें शरीर का ब्लड प्रेशर एक सीमित संख्या से नीचे चला जाता है। सामान्य तौर पर एक स्वस्थ व्यक्ति का बीपी 120/80 मिमी एचजी होता है। वहीं लो बीपी 90/60 मिमी एचजी या इससे नीचे होता है। निम्न रक्तचाप की स्थिति को देखभाल की आवश्यकता हो सकती है, क्योंकि लो बीपी की वजह से ब्रेन स्ट्रोक और हार्ट अटैक जैसी खतरनाक स्वास्थ्य समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं। ऐसे में, चिकित्सा विशेषज्ञ की सलाह लेना आपके लिए उचित होगा। 

लो ब्लड प्रेशर के लक्षण क्या है?

बीपी लो की स्थिति में रोगी को निम्न लक्षणों का अनुभव हो सकता है -

  • चक्कर आना: ब्लड प्रेशर कम होने की स्थिति में चक्कर आना सबसे सामान्य लक्षण है। लो ब्लड प्रेशर के कारण मस्तिष्क को पर्याप्त रक्त नहीं मिलता है, जिसके कारण व्यक्ति को चक्कर आ सकता है। 
  • थकान और कमजोरी: कम ब्लड प्रेशर के कारण थकान और कमजोरी आना एक सामान्य लक्षण है। ऐसा होने के पीछे का कारण है शरीर के अंगों तक पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन और आवश्यक पोषक तत्व का न पहुंचना। 
  • भूख न लगना: लो ब्लड प्रेशर के पेशेंट में अक्सर कम भूख लगने की शिकायत देखी गई है। ऐसा होने के पीछे का कारण है, कम रक्त प्रवाह का पाचन तंत्र को कमजोर कर देना। 
  • मतली और उल्टी: लो ब्लड प्रेशर के कारण मतली और उल्टी का आना इसका सामान्य लक्षण है। हालांकि यह स्थिति अधिक गंभीर मामलों में देखी जाती है। 
  • पसीना आना: लो ब्लड प्रेशर के कारण ठंडा पसीना आता है। ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि कम रक्त के बहाव के कारण शरीर अपना सामान्य तापमान बनाए रखने में सक्षम नहीं हो पाता है। इसके साथ कभी-कभी पेशेंट को ठंड लगना या शरीर में कंपन जैसी समस्याएं का सामना भी करना पड़ सकता है।
  • अनियमित दिल की धड़कन: लो ब्लड प्रेशर के कारण हृदय गति में बढ़ोतरी देखी गई है। इसके पीछे का कारण है हृदय के सभी भाग तक रक्त के प्रवाह का न पहुंच पाना। 
  • धुंधला दिखना: लो ब्लड प्रेशर के कारण आंखों में धुंधलापन होता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि मस्तिष्क को पर्याप्त रक्त नहीं मिल पाता है। इसके अतिरिक्त एक स्थान पर ध्यान केंद्रित करने में भी कठिनाई का सामना करना पड़ता है।

यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि यह सारे लक्षण दूसरी स्वास्थ्य समस्या की तरफ भी संकेत करते हैं। कुछ लोगों में तो लो बीपी के कोई भी लक्षण नहीं दिखते हैं। इसलिए लो ब्लड प्रेशर की स्थिति में हृदय रोग विशेषज्ञ से सलाह अवश्य लें।

लो ब्लड प्रेशर का क्या कारण है?

अचानक बीपी लो होने के कई कारण होते हैं, जिन्हें एक-एक करके नीचे विस्तार से समझाने का प्रयास किया गया है -

  • डिहाइड्रेशन (Dehydration): यदि शरीर को पर्याप्त पानी न मिले तो शरीर में पानी की कमी होती है, जिसकी वजह से ब्लड प्रेशर कम होने लगता है।
  • खून बहना (Bleeding): अधिक खून बहने के कारण शरीर में रक्त का बहाव कम हो जाता है, जिसके कारण लो ब्लड प्रेशर की समस्या उत्पन्न हो जाती है।
  • दवाएं (Medications): कुछ दवाएं होती हैं जैसे मूत्रवर्धक (diuretics), और एंटीडिप्रेसेंट (antidepressants) जिसके कारण बीपी लो हो सकता है।
  • एलर्जी (Allergy): एनाफिलेक्सिस जैसी कुछ एलर्जिक प्रतिक्रियाएं होती हैं, जिसके कारण ब्लड प्रेशर में अचानक से गिरावट देखने को मिलती है।
  • हृदय संबंधी समस्याएं (Heart problems):हृदय वाल्व रोग या अन्य हृदय संबंधित समस्याएं हृदय की मांसपेशियों को कमजोर कर देते हैं, जिसके कारण शरीर में ब्लड प्रेशर बहुत कम हो जाता है।
  • एंडोक्राइन विकार (Endocrine system problems): एडिसन रोग (Addison's disease) जैसे कुछ एंडोक्राइन विकार के कारण ब्लड प्रेशर कम हो जाता है।
  • प्रेगनेंसी में बीपी लो होना: कई बार ऐसा होता है कि प्रेगनेंसी के कारण महिला का बीपी लो हो जाता है। हालांकि इसका कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है, लेकिन प्रेगनेंसी में बीपी लो के कई मामले सामने आए है। हालांकि इसके कारण कोई गंभीर स्वास्थ्य समस्या उजागर नहीं होती है।
  • दिल संबंधी समस्याएं: हृदय से संबंधित रोग जैसे कि दिल की बीमारियां, हृदय का पंप न कर पाना, हृदय अस्थमा आदि लो बी.पी. का मुख्य कारण बन सकते हैं।
  • एनीमिया: कम रक्त काउंट (हीमोग्लोबिन) वाले व्यक्ति को भी लो बी.पी. हो सकता है, क्योंकि कम रक्त काउंट रक्तचाप को कम कर सकता है।
  • डायबिटीज: डायबिटीज (मधुमेह) वाले व्यक्ति में भी बी.पी. की समस्या हो सकती है।
  • थायराइड असंतुलन: थायराइड ग्रंथि के असंतुलन के कारण भी लो बी.पी. हो सकता है।

बीपी लो होने की जटिलताएं

लो ब्लड प्रेशर के कारण कुछ जटिलताएं उत्पन्न हो सकती हैं जैसे -

  • चक्कर आकर गिरना: लो ब्लड प्रेशर के कारण अक्सर व्यक्ति को चक्कर आता है और वह इसके कारण कहीं भी लड़खड़ा कर गिर सकते हैं या बेहोश हो सकते हैं, जिसके कारण उन्हें चोट लग सकती है।
  • हृदय की समस्याएं या स्ट्रोक: लो ब्लड प्रेशर की भरपाई के लिए हमारा हृदय अधिक तेजी से पंप करने का प्रयास करता है, जिसके कारण हृदय विफलता, स्ट्रोक, या डीप वेन थंब्रोसिस की समस्या उत्पन्न होती है।
  • शॉक: कई बार गंभीर मामलों में लो ब्लड प्रेशर के कारण शरीर के कुछ अंगों तक रक्त आपूर्ति नहीं होती है, जिसके कारण शॉक की समस्या उत्पन्न होती है।

लो ब्लड प्रेशर का निदान कैसे किया जाता है?

निम्न रक्तचाप या हाइपोटेंशन का निदान निम्न तरीकों से संभव है - 

  • रोगी की फैमिली हिस्ट्री: डॉक्टर परामर्श के दौरान कुछ सवाल पूछते हैं, जिसमें वह पेशेंट की फैमिली हिस्ट्री में होने वाली जेनेटिक रोग के बारे में कुछ प्रश्न पूछते हैं। 
  • ब्लड प्रेशर मॉनिटर:यह जांच निम्न रक्तचाप की जांच के लिए मूल जांच के रूप में जाना जाता है। इसी से ही ब्लड प्रेशर के कम या अधिक स्तर की जांच की जाती है।
  • शारीरिक परीक्षण: इसमें डॉक्टर रोगी की नाड़ी, हृदय गति और अन्य स्वास्थ्य समस्या की जांच करते हैं। 
  • रक्त परीक्षण: लो ब्लड प्रेशर के पीछे के कारणों की पहचान के लिए कुछ जांच का सुझाव दिया जा सकता है। इसमें हीमोग्लोबिन टेस्ट, रक्त कोशिका की गिनती और थायरॉयड फ़ंक्शन की जांच शामिल है। 
  • इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम(ईसीजी): अक्सर लगातार वेरी लो ब्लड प्रेशर की रीडिंग आने पर डॉक्टर ईसीजी टेस्ट का उपयोग कर हृदय की लय और दर की जांच करते हैं। इससे वह लो ब्लड प्रेशर और आपके हृदय स्वास्थ्य के बीच के संबंध के बारे में पुष्टि कर सकते हैं।

बीपी लो के घरेलू उपाय

बीपी लो होने पर घरेलू उपाय करने से तुरंत राहत मिल सकती है जैसे -

  • तरल पदार्थ का सेवन: पानी, नमक वाला पानी, चुकंदर का रस और नारियल पानी लो बीपी की स्थिति में बहुत मदद कर सकते हैं।
  • आहार में बदलाव: आहार में कुछ बदलाव करने से व्यक्ति को बहुत मदद मिल सकती है जैसे - आहार में नमक के सेवन को बढ़ाएं। इसके साथ-साथ खजूर, तुलसी, अदरक, और लहसुन को अपने दैनिक आहार में शामिल करें।
  • जीवनशैली: अपने जीवन शैली में सकारात्मक बदलाव लाएं जैसे - व्यायाम, तनाव कम करना, पर्याप्त नींद लेना और धूम्रपान एवं शराब से दूरी।

बीपी लो से संबंधित अधिकतर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs) 

बीपी लो होने पर क्या करें?

बीपी लो होने पर निम्नलिखित बातों का खास ध्यान रखें -

  • लेट जाएं
  • पानी या इलेक्ट्रोलाइट पेय पदार्थ का सेवन करें
  • दवाएं लें
  • डॉक्टर से संपर्क करें

बीपी लो कैसे ठीक होता है?

बीपी लो की स्थिति को ठीक करने के लिए निम्नलिखित उपायों का पालन करें -

  • लेट जाएं, पैर ऊपर उठाएं और नमक वाला पानी पिएं।
  • स्वस्थ जीवनशैली, संतुलित आहार, नियमित व्यायाम का पालन करें।

इसके अतिरिक्त डॉक्टरी सलाह बहुत ज्यादा आवश्यक होती है।

बीपी लो होने पर क्या खाना चाहिए?

बीपी लो होने पर निम्न खाद्य पदार्थों के सेवन की सलाह दी जाती है -

  • नमक युक्त भोजन
  • पोटेशियम युक्त भोजन जैसे केला, आलू, और हरी पत्तेदार सब्जियां
  • फल और सब्जियां
  • होल ग्रेन्स

बीपी लो में क्या पीना चाहिए?

बीपी लो की स्थिति में निम्न पेय पदार्थ लाभकारी साबित होंगे -

  • पानी
  • नमक वाला पानी
  • इलेक्ट्रोलाइट
  • छांछ
  • नारियल पानी

लो बीपी को कैसे कंट्रोल करें?

लो बीपी को कंट्रोल करने के लिए निम्न निर्देशों का पालन करें

  • डॉक्टर से सलाह लें।
  • स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं और तनाव को दूर करें।
  • नियमित व्यायाम और पर्याप्त मात्रा में पानी का सेवन बहुत लाभकारी होगा।
  • धूम्रपान और शराब से बचें।

अचानक बीपी लो क्यों होता है?

अचानक बीपी लो होने के कई कारण हो सकते हैं, लेकिन मुख्य रूप से गलत दवाओं का सेवन, डीहाइड्रेशन और हृदय संबंधित समस्या है।

क्या ज्यादा सोचने से लो बीपी हो सकता है?

ऐसी कोई खास चीज नहीं है, जिसे सोचने से बीपी लो हो। लेकिन लंबे समय तक तनाव में रहने से लो बीपी की समस्या हो सकती है।

कितने लो बीपी खतरनाक होता है?

लो बीपी स्वयं एक गंभीर समस्या है। हालांकि 70/40 या उससे कम का बीपी का स्तर आपके लिए खतरनाक साबित हो सकता है। 

लो ब्लड प्रेशर में क्या नहीं खाना चाहिए?

लो ब्लड प्रेशर में निम्न खाद्य पदार्थों के सेवन की सलाह नहीं दी जाती है - 

  • अधिक नमक वाले खाद्य पदार्थ
  • प्रोसेस्ड फ़ूड
  • शराब और बीयर
  • कैफ़ीन वाले ड्रिंक
  • मीठे स्नैक्स और पेय
  • गाजर
  • टमाटर और करेला

Written and Verified by:

Dr. Rakesh Sarkar

Dr. Rakesh Sarkar

Senior Consultant Exp: 11 Yr

Cardiology & Electrophysiology

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Dr Rakesh Sarkar is an experienced cardiologist and electrophysiologist associated with BM Birla Heart Research Centre. His expertise lies in doing complex arrhythmia procedures and novel pacing techniques as management of heart failure and arrhythmia. He is a specialist in Atrial Fibrillation, Atrial Flutter, Ventricular Tachycardia, CRT-D, and conduction system pacing in novel pacing techniques.

Dr Rakesh Sarkar has completed his MD in General Medicine from Bankura Sammilani Medical College and DM Cardiology from RG Kar Medical College. He completed his Post Doctoral Fellowship in Cardiac Electrophysiology from Care Hospital.

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