पीसीओडी के इलाज में सबसे ज्यादा जरूरी है, संतुलित आहार। पीसीओडी में सबसे ज्यादा आवश्यक होता है कि आपको क्या खाना चाहिए और क्या नहीं। उदाहरण के लिए कहें तो आपके आहार में शुगर और कार्ब्स की मात्रा कम होनी चाहिए और फाइबर और प्रोटीन की मात्रा अधिक होनी चाहिए। चलिए समझते हैं कि पीसीओडी (PCOD) में क्या खाएं और क्या न खाएं।
पॉलीसिस्टिक ओवरी डिसऑर्डर (पीसीओडी) एक सामान्य हार्मोनल डिसऑर्डर है, जो वर्तमान में बहुत सारी लड़कियों और महिलाओं को प्रभावित कर रहा है। इसके कारण अनियमित पीरियड्स, ओवेरियन सिस्ट और अन्य लक्षण अनुभव होते है, जो प्रेगनेंसी को प्रभावित कर सकते हैं। पीसीओडी का शारीरिक के साथ साथ मानसिक प्रभाव भी पड़ता है। हालांकि, पीसीओडी का कोई इलाज नहीं है, लेकिन एक संतुलित आहार (पीसीओडी आहार), स्वस्थ जीवन शैली और सकारात्मक सोच इस स्थिति के इलाज में मदद करते हैं। इलाज के लिए आप हमारे स्त्री रोग विशेषज्ञ से भी संपर्क कर सकते हैं।
पीसीओडी के इलाज में सबसे ज्यादा जरूरी है, संतुलित आहार। पीसीओडी में सबसे ज्यादा आवश्यक होता है कि आपको क्या खाना चाहिए और क्या नहीं। उदाहरण के लिए कहें तो आपके आहार में शुगर और कार्ब्स की मात्रा कम होनी चाहिए और फाइबर और प्रोटीन की मात्रा अधिक होनी चाहिए। चलिए समझते हैं कि पीसीओडी (PCOD) में क्या खाएं और क्या न खाएं।
संतुलित आहार हार्मोनल बदलाव पर सकारात्मक प्रभाव डालते हैं, जिससे लक्षण धीरे-धीरे कम होते हैं और स्थिति में भी सुधार होता है। अपने आहार में निम्न चीजों को ज़रूर शामिल करें -
इसके अलावा, पुदीना चाय या दालचीनी चाय जैसी हर्बल चाय पीने पर विचार करें। पुदीने की चाय पीसीओडी से जुड़े अतिरिक्त बालों के विकास को कम करने में मदद कर सकती है, जबकि दालचीनी इंसुलिन संवेदनशीलता में सुधार करने में मदद कर सकती है।
सफेद ब्रेड, शर्करा युक्त अनाज और पेस्ट्री जैसे परिष्कृत कार्बोहाइड्रेट का सेवन कम से कम करें। इनसे रक्त शर्करा के स्तर में तेजी से वृद्धि हो सकती है और इंसुलिन प्रतिरोध बिगड़ सकता है। इसके अलावा, निम्न से परहेज करें:
पीसीओडी को केवल आहार के माध्यम से ठीक नहीं किया जा सकता है, लेकिन जानकारी पूर्ण आहार विकल्प चुनने से इसके लक्षणों को प्रबंधित करने और आपके समग्र स्वास्थ्य में सुधार करने में मदद मिल सकती है। संपूर्ण, पोषक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थों पर ध्यान दें, प्रोसेस्ड और हाई शुगर फूड से बचें और एक स्वस्थ जीवनशैली अपनाएं। आपकी सहायता के लिए नीचे एक टेबल है जो आपको समझने में मदद करेगा कि आपको क्या खाना चाहिए और क्या नहीं।
खाने के विकल्प |
क्या खाएं |
क्या न खाएं |
प्रोटीन |
लीन प्रोटीन जैसे त्वचा रहित चिकन, मछली, टोफू, फलियां (बीन्स, दाल) |
चिकना मांस, तला हुआ मांस, डिब्बाबंद मांस |
फट |
हेल्दी फैट जैसे एवोकाडो, नट, बीज, जैतून का तेल |
मक्खन, नारियल तेल, स्मोक्ड मीट, वसायुक्त डेयरी उत्पाद |
फल |
जामुन, सेब, संतरे, नाशपाती |
सूखे मेवे, फलों का रस, केला, अंगूर |
सब्जियां |
पालक, केल, ब्रोकली, गोभी, गाजर |
आलू, चिप्स, फ्रेंच फ्राइज़ |
डेयरी विकल्प |
फोर्टिफाइड आलमंड मिल्क, सोया मिल्क, नारियल दही |
फुल फैट दूध, चीज, आइसक्रीम |
सूजन रोधी खाद्य पदार्थ |
हल्दी, अदरक, लहसुन, वसायुक्त मछली (सैल्मन, मैकेरल) |
फ्राइड फूड, प्रोसेस्ड फूड, शर्करा युक्त पेय पदार्थ |
पेय पदार्थ |
साफ पानी और हर्बल चाय |
सोडा, फलों का रस, मीठी चाय/कॉफी |
पीसीओडी की स्थिति में क्या खाना चाहिए और क्या नहीं, यह आपको ऊपर पता चल गया होगा। सही खाद्य पदार्थों का चयन अनियमित पीरियड्स, वजन बढ़ना और हार्मोनल असंतुलन जैसे लक्षणों को कम करने में मदद कर सकता है।
पीसीओडी-फ्रेंडली आहार में उच्च फाइबर, प्रोटीन युक्त और कम ग्लाइसेमिक इंडेक्स (जीआई) वाले भोजन का सेवन करें। चलिए आपको पीसीओडी-फ्रेंडली डाइट चार्ट के बारे में जानकारी देते हैं -
इस डाइट चार्ट का पालन करने के साथ-साथ खुद को हाइड्रेटेड रखें, चीनी से बचें और PCOD को बेहतर तरीके से नियंत्रित करने के लिए व्यायाम को बिल्कुल न छोड़ें।
पीसीओडी के मामले में डॉक्टर रोगी को वजन घटाने का सुझाव देते हैं। इसके लिए वह निम्नलिखित सुझावों का पालन कर सकते हैं -
व्यक्तिगत पीसीओडी आहार योजना बनाने के लिए किसी विशेषज्ञ या पंजीकृत आहार विशेषज्ञ से परामर्श करना आवश्यक है जो आपकी विशिष्ट आवश्यकताओं और स्वास्थ्य लक्ष्यों के अनुरूप हो। स्वस्थ आहार और जीवनशैली के प्रति सक्रिय दृष्टिकोण अपनाकर, आप पीसीओडी को प्रभावी ढंग से प्रबंधित कर सकते हैं।
पीसीओडी किसी एक आहार से ठीक नहीं होता है। पीसीओडी आहार का सेवन इस रोग के लक्षणों को कम करने में मदद कर सकता है। निम्न चीजों को अपने आहार में जोड़ने से आपको लाभ मिलेगा -
इस सवाल का जवाब महिला के स्वास्थ्य के आधार पर भिन्न होता है। कुछ महिलाओं को दूध पीने से राहत मिलती है, लेकिन कुछ में स्थिति खराब हो जाती है। इस सवाल का जवाब डॉक्टर हर महिला के स्वास्थ्य के आधार पर देते हैं।
पीसीओडी के सटीक कारण अभी भी अज्ञात है, लेकिन ऐसा माना जाता है कि कई कारक हैं जिनकी वजह से महिलाओं को पीसीओडी की शिकायत होती है जैसे -
पीसीओडी का निदान करने के लिए डॉक्टर आपके लक्षण, मेडिकल हिस्ट्री और शारीरिक परीक्षण का विकल्प चुनते हैं। इसके अतिरिक्त अन्य जांच का भी सुझाव दिया जा सकता है -
साथ-साथ रक्त परीक्षण और अल्ट्रासाउंड का सुझाव भी दिया जाता है।
पीसीओडी का कोई स्थायी इलाज नहीं है, लेकिन आहार, व्यायाम, दवा और जीवनशैली में बदलाव के माध्यम से पीसीओडी को प्रभावी ढंग से इलाज हो सकता है।
हां, लेकिन अनियमित ओव्यूलेशन के कारण इसमें अधिक समय लग सकता है। जीवनशैली में बदलाव, दवाएं और प्रजनन उपचार गर्भधारण की संभावनाओं को बेहतर बनाने में मदद कर सकते हैं।
हां, 5-10% वजन कम करने से भी लक्षणों में काफी सुधार हो सकता है, मासिक धर्म नियमित हो सकता है और प्रजनन क्षमता बढ़ सकती है।
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