हमारा जीवन अब शताब्दी ट्रेन से भी तेज हो गया है, जहां पर लोगों के पास थोड़ी देर बैठकर बात करने का भी समय नहीं है। इसका असर हमारे स्वास्थ्य पर देखने को मिल रहा है। इस भागते दौड़ते जीवन में अस्वस्थ खान-पान, गतिहीन जीवनशैली और तनाव हमारे जीवन का अभिन्न भाग बन गया है, जिससे कई सारी स्वास्थ्य समस्याएं हमारे जीवन के आस-पास मंडराती रहती हैं। हालांकि पिछले कुछ समय से लोग अपने स्वास्थ्य को भी प्राथमिकता दे रहे हैं, लेकिन अभी भी कहीं न कहीं लिवर स्वास्थ्य को अनदेखा किया जा रहा है।
जब तक लिवर में कोई समस्या न हो, कोई भी इसे सीरियस नहीं लेता है। लिवर की समस्या एक ऐसी समस्या है, जिसे साइलेंट डिजीज के नाम से भी जाना जाता है। फैटी लिवर रोग एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या है, जो अनुपचारित रह जाने पर जानलेवा स्थिति में परिवर्तित हो सकती है। अच्छी खबर यह है कि इसे ठीक किया जा सकता है, जिसे हम इस ब्लॉग से आपको बताने वाले हैं। चलिए समझते हैं कि फैटी लिवर क्या है, इसके लक्षण, जोखिम और सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि आप अपने लिवर को प्राकृतिक रूप से कैसे ठीक कर सकते हैं। अधिक समस्या दिखने पर तुरंत एक फैटी लीवर के विशेषज्ञ से मिलें और इलाज लें।
फैटी लिवर या हेपेटिक स्टीटोसिस वह समस्या है, जिसमें लिवर की कोशिकाओं में अतिरिक्त फैट जम जाता है। आमतौर पर लिवर पर जो फैट जमता है, वह थोड़ी मात्रा में ही होता है, लेकिन जब फैट लिवर के ऊपर जमा होता है, तो इसके कारण लिवर का वजन भी 5 से 10% या उससे ज्यादा बढ़ जाता है, जो फैटी लिवर का एक प्रमुख कारण भी है। दो प्रकार के फैटी लिवर डिजीज होते हैं -
दुनिया में जितने भी फैटी लिवर रोग के जितने भी मामले है, उनमें से अधिकतर मामले नॉन-अल्कोहलिक फैटी लिवर डिजीज (NAFLD) के हैं। सही समय पर सही इलाज न मिलने पर यह स्थिति नॉन-अल्कोहलिक स्टीटोहेपेटाइटिस (NASH), फाइब्रोसिस, सिरोसिस और यहां तक कि लिवर कैंसर का रूप ले लेती है।
फैटी लिवर की स्थिति में लक्षण थोड़ी देर से ही सामने आते हैं, इसलिए इसे साइलेंट डिजीज या किलर के नाम से जाना जाता है। हालांकि जब लिवर पर बहुत ज्यादा फैट जम जाता है, वैसे-वैसे कुछ लक्षण उत्पन्न होने लग जाते हैं जैसे कि -
यदि आप इन लक्षणों का अनुभव कर रहे हैं, तो बिना देर किए डॉक्टर से मिलें और इलाज के विकल्पों पर बात करें। समय रहते, जीवनशैली में बदलाव फैटी लिवर की गंभीर जटिलताओं से आपको बचा सकता है।
फैटी लिवर को नजरअंदाज करना आपकी सेहत के लिए बिल्कुल भी अच्छा नहीं है, क्योंकि इसके कारण गंभीर स्वास्थ्य जटिलताएं उत्पन्न हो सकती हैं जैसे कि-
इसी कारणवश हम जीवनशैली में बदलाव से फैटी लिवर रोग के इलाज का सुझाव देते हैं।
फैटी लिवर के इलाज के लिए कोई जादुई गोली नहीं है। आपको प्रक्रिया पर भरोसा रखना होगा और जानना होगा कि फैटी लिवर में क्या-क्या खाना चाहिए और जीवन में क्या बदलाव करने से आपको लाभ मिलेगा। निम्न सुझावों का पालन कर आप फैटी लिवर का इलाज कर सकते हैं -
सही सलाह और तुरंत उपचार से आप कुछ ही महीनों में फैटी लिवर की समस्या से बाहर आ सकते हैं।
फैटी लिवर एक साइलेंट डिजीज है, जिसे जीवनशैली में बदलाव, स्वस्थ आहार और नियमित व्यायाम की मदद आसानी से मैनेज किया जा सकता है। इसके साथ-साथ शराब से दूरी बनाएं और स्वस्थ वजन बनाए रखें। फैटी लिवर की स्थिति में आप फैटी लिवर विशेषज्ञों से मदद ले सकते हैं। वह आपकी स्थिति के अनुसार फैटी लिवर डाइट चार्ट का सुझाव देंगे और आवश्यकता पड़ने पर दवाएं और सप्लीमेंट का सुझाव देंगे।
फैटी लिवर की स्थिति में आपको कुछ प्रकार के खाद्य पदार्थों के सेवन की सलाह दी जाती है जैसे कि -
फैटी लिवर की स्थिति में आप ग्रीन टी पी सकते हैं, क्योंकि इससे चर्बी और सूजन को कम करने में मदद मिल सकती है। आप प्रयास करें कि आप कैफीन का सेवन सीमित करें। आप हर्बल टी का सेवन भी कर सकते हैं।
फैटी लिवर को ठीक होने कम से कम 3 महीने और अधिकतम 1 साल का समय लग सकता है। गंभीर मामलों में एक साल लगता है और यदि आपको जल्दी ठीक होना है, तो स्वस्थ जीवनशैली और फैटी लिवर डाइट चार्ट का कड़ाई से पालन करें।
फैटी लिवर की स्थिति में आप एंटीऑक्सीडेंट और फाइबर से भरपूर फल का सेवन कर सकते हैं जैसे कि -
प्रयास करें आम और अंगूर जैसे अधिक मीठे फल का सेवन न करें।
फैटी लिवर की स्थिति में कुछ प्रकार के योग डिटॉक्सिफिकेशन का कार्य करते हैं जैसे कि -
रोजाना कम से कम 20 से 30 मिनट का योग और व्यायाम करें।
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