Interventional Radiology | by BMB | Published on 13/05/2024
इकोकार्डियोग्राम टेस्ट (Echocardiogram test) या इको टेस्ट (Echo Test) या इकोकार्डियोग्राफी (Ecocardiography) एक प्रकार का अल्ट्रासाउंड टेस्ट है, जिसमें दिल के स्वास्थ्य की जांच होती है। इस टेस्ट में ध्वनि तरंगों को उपयोग होता है, जिससे हृदय की चलती छवि का निर्माण होता है। इस टेस्ट के परिणाम हृदय स्वास्थ्य और हृदय से संबंधित समस्याओं के बारे में सारी जानकारी मिल सकती है।
यह एक सामान्य अल्ट्रासाउंड टेस्ट है जिसमें हृदय की गतिविधि का आकलन होता है। इस टेस्ट में दिल की छवि को तैयार करने के लिए साउंड वेव्स (sound waves) का उपयोग किया जाता है, जिससे यह पता चल सकता है कि हमारा हृदय कितना रक्त पंप कर रहा है। इस टेस्ट से यह निर्धारित करने में मदद मिलती है कि हृदय के वाल्व, कक्ष और मांसपेशियां अपना काम सही से कर रहे हैं या नहीं।
कई कारणों से इस टेस्ट को कराना पड़ता है जैसे -
इसके अतिरिक्त यह टेस्ट कुछ अन्य कारणों से भी कराए जा सकते हैं जैसे -
इस टेस्ट से पहले कुछ चीजों का खास ख्याल रखना होता है जैसे -
इसके बाद टेस्ट को निम्न चरणों में किया जाता है -
दिल की धड़कन के बाद, निलय (हृदय के अंदर स्थित गुहा) से कितना रक्त बह रहा है, इसे इजेक्शन फ्रैक्शन कहा जाता है। इको टेस्ट की मदद से इसी इजेक्शन फ्रैक्शन (Ejection Fraction) को मापा जाता है। चलिए इको के सामान्य परिणाम को इस टेबल की मदद से समझने का प्रयास करते हैं -
क्र.सं. |
इजेक्शनफ्रैक्शन (Ejection Fraction) |
निष्कर्ष (Inference) |
1 |
50% – 70% |
सामान्य (Normal) |
2 |
40% – 49% |
सीमा रेखा (Borderline) |
3 |
< 40% |
कम (Low) |
4 |
> 70% |
उच्च (High) |
इस चार्ट की मदद से इको के परिणाम को समझने में मदद मिलेगी।
इकोकार्डियोग्राम हृदय स्वास्थ्य की जांच करने का सबसे सुरक्षित, प्रभावी और महत्वपूर्ण तरीका है। इसकी मदद से हृदय रोग की पुष्टि हो सकती है और इसके साथ-साथ हृदय को स्वस्थ रखने में भी बहुत मदद मिलती है। यदि आपको किसी भी कार्डियोलॉजी डॉक्टर ने इकोकार्डियोग्राफी करवाने के लिए कहा गया है, तो आपको घबराने की आवश्यकता नहीं है। यह एक सरल प्रक्रिया है, जिसकी मदद से आपके दिल की सेहत के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी मिल सकती है और समय रहते किसी भी समस्या का इलाज तुरंत हो सकता है।
हृदय की सटीक जांच के लिए इको टेस्ट को सबसे सटीक माना जाता है, क्योंकि ईसीजी टेस्ट (ECG Test) की मदद से सिर्फ संभावित स्वास्थ्य स्थिति का संकेत मिलता है, जबकि इको परीक्षण (Echo Test) हृदय और उसके अंगों के कार्य प्रणाली के बारे में जानकारी प्रदान करता है।
सामान्य तौर पर यह प्रक्रिया एक दर्द रहित प्रक्रिया की सूची में आती है। हालांकि पेशेंट को छाती पर चिपकाए हुऐ इलेक्ट्रोड्स को उतारते समय थोड़ी तकलीफ का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि इस तकलीफ में रोगी को ऐसा महसूस होता है कि उसके शरीर से बेंडेज को निकाला जा रहा है।